नए वाहन के टैक्स में 25 प्रतिशत छूट पाओ
Dehradun: अगर आप अपने पुराने वाहन को बेचकर नया खरीदना चाह रहे हैं तो अब सरकार इसके लिए आपको 50 हजार रुपये तक की विशेष छूट देगी। इसके लिए स्क्रैप पॉलिसी को कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है। पुराना वाहन आप स्क्रैपिंग सेंटर में देकर उसके कबाड़ का पैसा लेने के साथ ही सरकार का सर्टिफिकेट ले सकते हैं, जिससे नए वाहन की खरीद पर टैक्स में 25 प्रतिशत की छूट मिलेगी।
केंद्र सरकार की विशेष केंद्रीय सहायता योजना के तहत स्क्रैप पॉलिसी के लिए केंद्र से 50 करोड़ की मदद मिलेगी। इस नीति के तहत सभी सरकारी विभागों, निकायों, प्रतिष्ठानों के 15 वर्ष पुराने वाहन कबाड़ बनेंगे। गैर सरकारी या निजी वाहनों को स्क्रैप में भेजने के लिए सरकार प्रोत्साहन देगी। अगर आप अपना वाहन स्क्रैप सेंटर में देंगे तो आपको बाजार भाव के हिसाब से उस सेंटर की ओर से पैसा दिया जाएगा। इसके अलावा राज्य सरकार की ओर 25 प्रतिशत टैक्स छूट का प्रमाणपत्र दिया जाएगा।
नए वाहन की खरीद के दौरान इस प्रमाणपत्र का इस्तेमाल किया जा सकेगा। मसलन, अगर आप 10 लाख रुपये की कार खरीदते हैं और उसका टैक्स एक लाख रुपये है तो उसका 25 प्रतिशत यानी 25 हजार रुपये टैक्स में छूट मिलेगी। 20 लाख के वाहन पर 25 प्रतिशत के हिसाब से 50 हजार रुपये की छूट मिलेगी लेकिन इससे अधिक की छूट नहीं मिलेगी।
व्यवसायिक वाहनों को स्क्रैप में देने के लिए भी सरकार ने अलग से प्रावधान किया है। जो वाहन 2003 से पुराने होंगे, उन्हें स्क्रैप में देने पर पुराना टैक्स और पेनल्टी 100 फीसदी माफ होगी। वर्ष 2003 से 2008 के बीच के वाहनों में पुराने बकाया टैक्स पर 50 प्रतिशत, जुर्माने पर 100 प्रतिशत छूट होगी। 2008 के बाद के व्यावसायिक वाहनों में पुराने बकाया टैक्स में कोई छूट नहीं होगी, उसके जुर्माने पर 100 प्रतिशत छूट होगी। इन वाहनों को स्क्रैप में देने वालों को सरकार आठ साल तक टैक्स में 15 प्रतिशत छूट का लाभ भी देगी।
आपके पास है पुरानी कार तो क्या करें
अगर आपके पास निजी पुरानी कार है तो घबराने की जरूरत नहीं है। सरकार इसे जबरन कबाड़ में नहीं भेजेगी। जब आप नई कार खरीदना चाहेंगे तो इसे कबाड़ में भेज सकते हैं। इसके लिए रुड़की में दो रजिस्टर्ड व्हीकल स्क्रैपिंग फैसेलिटी सेंटर चल रहे हैं। राज्य में और केंद्र बनने जा रहे हैं। 15 साल आयु का नियम व्यावसायिक वाहनों पर लागू है, निजी पर नहीं। उनकी भी पहले फिटनेस जांच होगी, उसमें फेल होने पर ही उसे स्क्रैप सेंटर में भेज सकते हैं।